देहरादून 20 जून 2022,
दिल्ली: गत दिवस कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अग्निपथ योजना की ख़िलाफ़त करते हुए ट्वीट किया कि, “8 सालों से बीजेपी सरकार ने ‘जय जवान, जय किसान’ के मूल्यों का लगातार अपमान किया है। मैंने पहले भी कहा था कि प्रधानमंत्री जी को काले कृषि कानून वापस लेने पड़ेंगे। ठीक उसी तरह उन्हें ‘माफीवीर’ बनकर देश के युवाओं की बात माननी पड़ेगी और ‘अग्निपथ’ को वापस लेना ही पड़ेगा।”
राहुल गांधी के भाजपा सरकार पर हमलावर रुख को देखते हुए केंद्र सरकार की अग्निपथ योजना के ख़िलाफ़ कांग्रेस के दिग्गज नेताओं ने राजधानी दिल्ली के जंतर-मंतर पर विरोध प्रदर्शन किया है।
प्रदर्शन के दौरान कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने कहा कि युवा हिंसा न करें। आज सेना के साथ इस योजना को लाकर गलत किया जा रहा है। सरकार ने युवाओं के सपने के साथ खिलवाड़ किया है। इस योजना के बारे में कुछ सोचा ही नहीं। केवल युवाओं के ऊपर इस योजना को थोपा जा रहा है।
पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने कहा कि योजना पहले बनाई जाती है और सोचा बाद में जाता है। मोदी ने जितने वादे किए कोई पूरा नहीं किया। यह योजना सफल नहीं होगी। सरकार को अहम को छोड़कर इस योजना को वापस लेना होगा।
उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि सरकार युवाओं को पुलिस के द्वारा दबाना चाहती है। देश का युवा सेना में जाने के लिए दिन रात मेहनत कर रहा है, लेकिन इस योजना के जरिए उनके भविष्य को आग में डाल दिया गया है।
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने कहा कि युवाओं का दर्द आज देश समझ रहा है। इस देश की संपत्ति आपकी है इसको नुकसान मत पहुंचाओ। यह सरकार उधोगपतियों के लिए चलाई जा रही है। मौजूदा सरकार ने सरकारी उद्योग बेच दिए। पूरी कांग्रेस पार्टी युवाओं के साथ है। उन्होंने कहा कि अग्निपथ योजना को लागू करने के बाद 24 घंटे भी नहीं बीते और बीजेपी सरकार को सेना भर्ती की नई योजना के नियम बदलने पड़े। इसका तो यही मतलब है कि योजना को युवाओं पर जल्दबाजी में थोपा जा रहा है।
प्रदर्शनकारियों ने मीडिया को बताया कि यह योजना रोजगार देने के नाम पर बेमानी है। चार वर्षों बाद युवा कहां जाएंगे। सरकार के पास युवाओं के रोजगार के लिए कोई ठोस नीति नहीं है। सरकार को युवाओं की बात सुननी होगी और इस योजना को वापस लेना होगा। उन्होंने कहा कि अगर मांग नहीं मानी गई तो आने वाले दिनों में युवा बड़े स्तर पर प्रदर्शन करेंगे