Ladhak, 27 September 2025,
पुलिस ने सामाजिक कार्यकर्ता और लद्दाख को राज्य का दर्जा देने समेत इसे संविधान की छठवीं अनुसूची में शामिल करने की मांग कर रहे क्लाइमेट एक्टीविस्ट और शिक्षाविद् सोनम वांगचुक को गिरफ्तार कर लिया गया था। लेह में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में लद्दाख के डीजीपी एसडी सिंह जामवाल ने सोनम वांगचुक के पाकिस्तान से संबंध होने का आरोप लगाया है। और पड़ोसी देशों की उनकी यात्राओं पर सवाल उठाए हैं।
प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए डीजीपी जामवाल ने कहा कि पुलिस ने एक पाकिस्तानी पीआईओ को गिरफ्तार किया है, जो वांगचुक के संपर्क में था। जो पाकिस्तान को रिपोर्टिंग कर रहा था। हमारे पास इसका रिकॉर्ड है। सोनम वांगचुक पाकिस्तान में डॉन के एक कार्यक्रम में शामिल हुए थे। वह बांग्लादेश भी गए थे। जिसकी जांच की जा रही है। पुलिस ने वांगचुक पर 24 सितंबर को लेह में हिंसा भड़काने का आरोप भी लगाया। उन्होंने कहा, “सोनम वांगचुक का भड़काने का इतिहास रहा है। उन्होंने अरब स्प्रिंग, नेपाल और बांग्लादेश का ज़िक्र किया है। एफसीआरए उल्लंघन के लिए उनके वित्तपोषण की जांच चल रही है। लेह हिंसा के पीछे विदेशी संलिप्तता के बारे में पूछे जाने पर डीजीपी जामवाल ने मीडिया से कहा, “जांच के दौरान दो और लोगों को पकड़ा गया। अगर वे किसी साजिश का हिस्सा हैं, तो मैं नहीं कह सकता। इस जगह पर नेपाली लोगों के मजदूर के रूप में काम करने का इतिहास रहा है, इसलिए हमें इसकी जांच करनी होगी।
डीजीपी जामवाल ने कहा कि आंदोलन के दौरान तथाकथित क्लाइमेट एक्टीविस्ट द्वारा भड़काऊ भाषण दिए गए थे, जिसके कारण केंद्र शासित प्रदेश में हिंसा हुई।
डीजीपी जामवाल ने कुछ पर्यावरण कार्यकर्ता की भूमिका और विश्वसनीयता पर भी सवालिया निशान लगाया है। उन्होंने मंच को हाईजैक करने की कोशिश की, और इसमें प्रमुख नाम सोनम वांगचुक का है, जिन्होंने पहले भी ऐसे बयान दिए हैं और केन्द्र सरकार से बातचीत को पटरी से उतारने का काम किया है।।
24 सितंबर को लेह में विरोध प्रदर्शन हिंसक हो गया था, जिसके बाद इलाके में भाजपा कार्यालय में आग लगा दी गई थी। हिंसक विरोध प्रदर्शनों में चार लोगों की मौत हो गई थी। और सुरक्षा कर्मियों सहित सैकड़ों प्रदर्शन कारी घायल हो गए थे। इस घटना के दो दिन बाद, सोनम वांगचुक को राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (एनएसए) के प्रावधानों के तहत हिरासत में लिया गया।
सोनम वांगचुक की राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (एनएसए) के तहत गिरफ्तारी को लेकर कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने ‘X’ पर लिखा कि ” सोनम वांगचुक की गिरफ्तारी की निंदा करती है। उन्होंने कहा,केंद्र शासित प्रदेश लद्दाख में कानून-व्यवस्था बनाए रखने और जान-माल की सुरक्षा सुनिश्चित करने में भारतीय जनता पार्टी विफल रही है। वांगचुक की गिरफ्तारी जिम्मेदारी से ध्यान हटाने के लिए किया गया। मुद्दे की जड़ यह है कि भारतीय जनता पार्टी ने सालों तक लद्दाख के लोगों को धोखा दिया है?
कांग्रेस ने जयराम रमेश ने आगे कहा कि भारतीय जनता पार्टी ने 2020 के लेह हिल काउंसिल चुनावों में इस क्षेत्र को छठी अनुसूची का दर्जा देने का वादा किया था, लेकिन वह वादे से मुकर गई है। जयराम ने आरोप लगाते हुए कहा कि मोदी सरकार वांगचुक को गिरफ्तार करके इन मुद्दों को टाल नहीं सकती है?