वाशिंगटन: अमेरिका की सड़कों पर राष्ट्रपति ट्रंप के खिलाफ लाखों लोग सड़क पर उतर चुके हैं। यह अमेरिका के इतिहास का सबसे बड़ा विरोध प्रदर्शन है। राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के खिलाफ अब तक का सबसे बड़ा विरोध प्रदर्शन करने के लिए अमेरिकी की जनता सड़क पर मार्च कर रही है।इस दौरान अमेरिका के 27 हजार स्थानों पर 50 लाख से ज्यादा लोग ट्रंप की नीतियों, खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं।
ट्रंप के खिलाफ लोगों में भारी गुस्सा है। इस विशाल विरोध प्रदर्शन में विभिन्न सामाजिक, राजनीतिक और नागरिक समूहों ने भाग लिया, जिसमें महिलाओं के अधिकारों के लिए कार्य करने वाले संगठनों से लेकर पर्यावरण कार्यकर्ता और ट्रंप प्रशासन की नीतियों के विरोधी शामिल थे। प्रदर्शनकारियों ने ट्रंप के शासनकाल की आलोचना करते हुए ‘अब और नहीं’ (No more) और ‘हमें बदलाव चाहिए’ (We need change) जैसे नारे लगाए। इस विरोध प्रदर्शन का आह्वान ट्रंप के प्रशासन के खिलाफ बढ़ते असंतोष और उनके द्वारा उठाए गए निर्णयों के विरोध में किया गया था।
यह विरोध प्रदर्शन ट्रंप की विभिन्न नीतियों के खिलाफ है। ट्रप पर लोकतांत्रिक संस्थाओं पर हमले का आरोप है।न्यायपालिका में ट्रंप द्वारा नियुक्त किए गए न्यायधीशों के फैसलों और संघीय पुलिस के कुछ आक्रामक कदमों के विरोध में कई संगठनों ने मिलकर यह विरोध प्रदर्शन आयोजित किया गया। एक ओर जहां प्रदर्शनकारियों का कहना था कि ट्रंप के शासन में लोकतांत्रिक संस्थाओं पर हमला हो रहा है, वहीं दूसरी ओर प्रशासन ने इन विरोधों को ‘राजनीतिक साजिश’ और ‘सामाजिक असंतोष फैलाने की कोशिश’ के रूप में प्रस्तुत किया। इसे ‘नो किंग्स प्रोटेस्ट’ नाम दिया गया है। यानि अब ट्रंप की तानाशाही नहीं चलेगी का नारा लगाया जा रहा है। अमेरिका के बड़े शहरों से लेकर छोटे कस्बों तक हर जगह लोग सड़कों पर उतर चुके हैं। इस विशाल आंदोलन ने यह स्पष्ट कर दिया कि अमेरिका में ट्रंप के खिलाफ असंतोष बढ़ता जा रहा है।
अमेरिका में ट्रंप के शासनकाल की सबसे बड़ी चुनौती बनकर उभरा है, जो निश्चित रूप से आगामी चुनावों में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है। राजनीतिक पर्यवेक्षकों का मानना है कि इस प्रकार के विरोधों से आने वाले समय में देश में बड़े राजनीतिक बदलाव हो सकते हैं।
सरकार ने प्रदर्शन को ‘देश-विरोधी’ कहा
वहीं दूसरी ओर, ट्रंप की रिपब्लिकन पार्टी ने इन प्रदर्शनों की कड़ी आलोचना की है. हाउस ऑफ रिप्रेजेंटेटिव्स के स्पीकर माइक जॉनसन ने इसे “अमेरिका से नफरत करने वालों की रैली” और “देश-विरोधी” बताया। इनके अलावा रिपब्लिकन नेताओं ने आरोप लगाया कि ऐसे प्रदर्शनों से देश में राजनीतिक हिंसा का माहौल बन सकता है।
इन प्रदर्शनों की प्रतिक्रिया स्वरूप राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने रविवार को सोशल मीडिया पर एक एआई जेनरेटेड वीडियो पोस्ट किया, जिसमें ‘नो किंग्स’ प्रदर्शनकारियों का मज़ाक उड़ाया गया। ट्रंप द्वारा ट्रुथ सोशल पर पोस्ट किए गए 19 सेकंड के इस वीडियो क्लिप में 79 वर्षीय ट्रंप ‘किंग ट्रंप’ फाइटर जेट उड़ाते और प्रदर्शनकारियों पर कीचड़ उछालते हुए दिखाई दे रहे हैं.
वीडियो में दिखाया गया है कि, डोनाल्ड ट्रंप “किंग ट्रम्प” नामक लड़ाकू विमान को टाइम्स स्क्वायर के ऊपर उड़ा रहे हैं और केनी लोगिंस के ‘डेंजर जोन’ के बजते ही नीचे प्रदर्शन कर रहे लोगों पर भूरे रंग का एक तरल पर्दाथ फेंक रहे हैं. यह वीडियो साफ तौर पर किसी टॉप गन फिल्मों की ओर इशारा करता हुआ दिखाई दे रहा है।